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उत्तराखंड के हर जिले में तैनात होंगे सीओ आपरेशन, जानिए कैसे करेंगे काम

देहरादून: पुलिस विभाग अब उत्तराखंड के सभी जिलों में सर्किल आफिसर (सीओ) आपरेशन की तैनाती करेगा। इसका उद्देश्य वर्तमान में तैनात सीओ का काम बांटना है। सीओ आपरेशन को एंटी ड्रग टास्क फोर्स (एडीटीएफ), स्पेशल आपरेशन ग्रुप (एसओजी) और क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्किंग सिस्टम (सीसीटीएनएस) की कमान दी जाएगी। इसके अलावा वह संगठित अपराध और अपराधियों के खिलाफ आपरेशन (कार्रवाई) का काम भी देखेंगे। यह निर्णय मंगलवार को पुलिस मुख्यालय में आयोजित पुलिस अधिकारियों के सम्मेलन में लिया गया।

पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) अशोक कुमार ने बताया कि सम्मेलन में तय हुआ है कि चीता को भी बीट एरिया दिया जाए। अब तक बीट एरिया का जिम्मा थानों में तैनात कांस्टेबल के पास ही होता था। यह निर्णय कांस्टेबल की कमी और बीट एरिया में बढ़ोतरी के चलते लिया गया है। वहीं, पुलिस को स्मार्ट बनाने के लिए विभाग ने राज्य के चार मैदानी जिलों (देहरादून, हरिद्वार, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर) में पुलिसकर्मियों को आधुनिक और शार्ट आम्र्स देने का निर्णय लिया है। पहाड़ी जिलों की तुलना में इन जिलों में अपराध बढ़ रहा है। इन जिलों में पुलिसकर्मियों को सीपीयू की तर्ज पर स्मार्ट वर्दी और बाडी कैम से लैस करने की योजना पर भी काम चल रहा है।

सम्मेलन यह निर्णय भी लिए गए

उत्तराखंड सीसीटीएनए प्रोजेक्ट रैंकिंग में देश में आठवें और पर्वतीय राज्यों में दूसरे स्थान पर है। इसमें सुधार किया जाएगा।

आनलाइन काउंटर एफेडेबिट माड्यूल में आ रही रुकावटों को जल्द दूर कर 15 दिन में इसे लागू किया जाएगा।

डायल 112 की तर्ज पर प्रदेश के सभी जिलों के कंट्रोल रूम को 30 जून 2022 तक अपग्रेड करने का लक्ष्य रखा जाएगा।

सभी जिलों, इकाई व शाखा के कार्यालयों और थाना-चौकियों में पेपर वर्क को कम कर डिजिटल वर्क बढ़ाया जाएगा।

ई-बीट बुक माड्यूल को एक महीने में सभी जिलों में लागू किया जाएगा।

कुमाऊं रेंज से गढ़वाल रेंज में स्थानांतरण के इच्छुक कर्मियों के आवेदन पर जल्द निर्णय लिया जाएगा।

पुलिस माडर्न स्कूलों में शिक्षा के स्तर को बढ़ाया जाएगा।

राज्य पुलिस संग्रहालय बनाने के लिए भूमि आवंटन को जिलाधिकारी देहरादून से समन्वय स्थापित किया जाएगा।

चंपावत की तर्ज पर पौड़ी, उत्तरकाशी, चमोली, अल्मोड़ा और पिथौरागढ़ की रिजर्व पुलिस लाइन का भी उच्चीकरण किया जाएगा।

जो भी थाना देश के टाप-10 थानों में शामिल होगा, वहां के प्रभारी के साथ जिला प्रभारी (एसएसपी), एसपी व क्षेत्राधिकारी को मेडल दिया जाएगा।

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