भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने जापान के मैदान पर इतिहास रच दिया है। 41 साल बाद भारत ने हॉकी में कोई मेडल अपने नाम किया है। भारत और जर्मनी के बीच गुरुवार को ब्रॉन्ज मेडल के लिए हुए मैच में तीसरे क्वार्टर तक जर्मन टीम पर 5-3 की बढ़त बनाई हुई थी। चौथे क्वार्टर में जर्मनी ने एक गोल दागा, लेकिन तब भी भारत की बढ़त बरकरार रही। इसी के साथ भारत ने 5वां मेडल पक्का कर लिया है।
पहले क्वार्टर में जर्मनी हावी रहा। उसने अटैकिंग हॉकी खेली।जर्मन टीम ने मैच के पहले ही मिनट में गोल कर बढ़त बना ली थी। तिमुर ओरूज ने फील्ड गोल किया। पहले क्वार्टर के खत्म होने के ठीक पहले उसे पेनल्टी कॉर्नर मिले। भारत ने इस पर शानदार बचाव किया और जर्मनी की बढ़त को 1-0 तक ही रखा। भारतीय गोलकीपर श्रीजेश ने लगातार 2 अच्छे सेव किए।
Historic! A day that will be etched in the memory of every Indian. Congratulations to our Men’s Hockey Team for bringing home the Bronze. With this feat, they have captured the imagination of the entire nation, especially our youth. India is proud of our Hockey team: PM Modi pic.twitter.com/hJRSPl8dMm
— ANI (@ANI) August 5, 2021
दूसरे क्वार्टर की शुरुआत में टीम इंडिया ने वापसी की और सिमरनजीत सिंह ने 17वें मिनट में गोल दागकर 1-1 से स्कोर बराबर कर दिया। इसके बाद जर्मनी के वेलेन ने एक और गोल दागा और टीम 2-1 से आगे हो गई। इसके बाद 25वें मिनट में फर्क ने 25वें मिनट में गोल दाग स्कोर 3-1 कर दिया। फिर भारत के हार्दिक सिंह ने 27वें और हरमनप्रीत सिंह ने 29वें मिनट में गोल दाग स्कोर 3-3 से बराबर कर दिया। हाफटाइम तक यही स्कोर रहा।
वहीं हाफ टाइम के बाद 31वें मिनट में रविंद्र पाल ने पेनाल्टी कॉर्नर पर गोल कर भारत को 4-3 से बढ़त दिलाई। उसके ठीक 3 मिनट बाद सिमरनजीत सिंह ने गोल कर लीड को 5-3 कर दिया। भारत के लिए अच्छी बात यह है कि इस ओलिंपिक में वह अपने से नीचे रैंक वाली किसी टीम से हारी नहीं है. पूल मैच में भारत को ऑस्ट्रेलिया से और अंतिम-4 के मुकाबले में बेल्जियम से हार झेलनी पड़ी थी। ये दोनों टीमें रैंकिंग में भारत से ऊपर हैं।
भारत ने आखिरी बार मास्को ओलिंपिक 1980 में फाइनल में जगह बनाई थी और तब टीम ने अपने आठ गोल्ड मेडल में से आखिरी गोल्ड जीता था। उसके बाद से भारतीय हॉकी का स्तर लगातार नीचे होता गया और टीम तब से लेकर इस ओलिंपिक से पहले तक कभी अंतिम 4 में भी जगह नहीं बना पाई थी।